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Hisar GK - Hisar District GK in Hindi - हिसार जिले की सम्पूर्ण जानकारी

 

हिसार जिले का इतिहास – History of Hisar

इस नगर की स्थापना 1354 ई० में तुगलक वंश के सुल्तान फिरोज तुगलक ने स्वर्ण किले के रूप में की थी। किले के चार गेटमोरी गेट, तलाकी गेट, नागोरी गेट तथा दिल्ली गेट के नाम से प्रसिद्ध है। हिसार ( Hisar ) को फ़ारसी भाषा मे किला कहा जाता है। हिसार लोदी शासकों के अधीन दिल्ली सल्तनत का हिस्सा था। Hisar शेरशाह सूरी का जन्म स्थान है।

हिसार कब बना – Hisar Kab Bana

1 नवम्बर 1966 को हरियाणा राज्य के निर्माण के समय हिसार ( Hisar ) इतना बड़ा था कि जींद जिले को छोड़कर वर्तमान हिसार मण्डल इसमे समाहित था। बाद में समय समय पर अन्य जिलों का निर्माण इसमे से कर दिया गया। वर्तमान में Hisar जिला दो पुरानी तहसीलों हिसार तथा हाँसी तक ही सीमित रह गया है।

उद्योग

हिसार ने उद्योगिक क्रांति में काफी विकास कर लिया है। सन 1955 में स्थापित हिसार टेक्सटाइल मिल ने यहाँ के विकास में महत्वपूर्ण योगदान दिया है। हिसार   में स्थित जिंदल पाइप फैक्ट्री आधुनिक तकनीकी मशीनों से युक्त एवं विश्वविख्यात है। एशिया का सबसे बड़ा पशु फार्म हिसार में ही है।

हिसार में सूती वस्त्र, PVC पाइप, लोहे के गार्डर, ऊन वस्त्र उद्योग, कॉटन जिनिग, जूते, लकड़ी का सामान और कृषि औजार आदि के लघु उद्योग स्थित है।

 Hisar में विश्वविद्यालय एवं रिसर्च सेंटर

·         चौधरी चरण सिंह विश्वविद्यालय की स्थापना 1970 में हुई।

·         गुरु जम्भेश्वर विश्वविद्यालय 1995 में बना।

·         लाल लाजपतराय विश्वविद्यालय 2011

·         हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय की स्थापना हिसार में 1970 में हुई। तभी से यहाँ धान पर शोध कार्य चल रहा है।

·         सेंट्रल इंस्टीट्यूट फ़ॉर रिसर्च ऑन बफ़ेलोज की स्थापना 1985 में हुई।

·         हिसार  में राष्ट्रीय अश्व अनुसंधान केंद्र है। यह भारत का एकमात्र ऐसा संस्थान है मत्स्य महाविद्यालय Hisar में है।

हिसार में मुख्य मंदिर ( Hisar Me Mukhy Mandir )

·         बिश्नोई मन्दिर हिसार में है।

·         जैन मंदिर हाँसी (हिसार) में स्थित है।

·         कुंवारी बुआ का मंदिर देवी भवन मन्दिर भी हिसार में है।

हिसार के प्रमुख मेले – Hisar Ke Parmukh Mele

·         नवरात्रि का मेला   नवरात्रि मेला हिसार ( Hisar ) जिले के बास एवं बनभौरी में चैत्र तथा अशिवनी मास में आयोजित किया जाता है।

·         जन्माष्टमी का मेला-   यह मेला हिसार जिले के अधिकांश ग्रामों में लगता है। श्रीकृष्ण जी के जन्मदिन और गुरु जम्भेश्वर जी के जन्म के उपलक्ष्य में इस मेले का आयोजन किया जाता है।

·         शिवजी का मेला  यह मेला Hisar में सीसवाल एवं किरमारा में फाल्गुन माह में लगता है।

·         कालीदेवी का मेला-  हिसार  के हाँसी कस्बे में मई माह में काली देवी की पूजा का उत्सव होता है और काली मंदिर में इस मेले का आयोजन किया जाता है।

·         अग्रसेन जयन्ती मेला  यह मेला हिसार के अग्रोहा नामक स्थान पर मार्चअप्रैल के महीने में महाराजा अग्रसेन की स्मृति में लगता है। यह मेला 3 दिन तक चलता है।

·         गोगा नवमी के मेला  भादो शुक्ल पक्ष नवमी को गोगा पीर की स्मृति में हिसार जिले के बाङयां, डाया, रोहनात आदि गाँवो में यह मेला लगता है। इस दिन यहाँ विशेष रूप से दादी गौरी की पूजा की जाती है।

मुख्य मजार

·         मीरा साहिब की मजार

·         भीत ताजरा की मजार

·         शेख जुनाद की मजार

·         कुतुब मौलाना की मजार

·         सूफ़ी कुतुबुद्दीन मन्ववर की मजार

·         शेख जमालुद्दीन अहमद की मजार

 

अन्य पर्यटक स्थल

ब्लू बर्ड झील, हिरण उद्यान (1970), गुजरी महल, चहार कुतुब इमारत (हाँसी), जहाज कोठी ( जॉर्ज थॉमस रहा था जिसमें) आदि है।

 हिसार में प्रसिद्ध व्यक्तियों का जन्म

                शेरशाह सूरी का जन्म स्थान  हिसार ( Hisar ) है। इसके अलावा बहुत से प्रसिद्ध व्यक्ति ऐसे है जिनका जन्म स्थान हिसार है

·         जगत सिंह जाखड़

·         मास्टर चन्दगीराम        फ़िल्म निर्माता

·         पंडित जसराज            शास्त्रीय संगीतकार

·         लाल हरदेव                 स्वतंत्रता सेनानी

·         अरविंद केजरीवाल

·         यशपाल शर्मा              हास्य अभिनेता

·         सायना नेहवाल           विश्व प्रसिद्ध बैडमिंटन खिलाड़ी

 आदि प्रसिद्ध व्यक्तियों का जन्म स्थान हिसार रहा है।

 

हाँसी का किला – Hansi Ka Kila

हांसी की स्थापना आसाराम जाट द्वारा की गई थी। हाँसी का किला 12वी सदी में महान हिंदू सम्राट पृथ्वीराज चौहान ने बनवाया था। उसके बाद राजा अनंगपाल के पुत्र द्रुपद ने इस किले में तलवार निर्माण की फैक्ट्री लगाई। इसलिए इसे असिगढ़ भी कहा जाता है।

हांसी शहर में प्रवेश के पांच द्वार है-

दिल्ली गेट (पूर्व), हिसार गेट (पश्चिम), गोसाई गेट (उत्तर- पश्चिम), बड़सी गेट (दक्षिण), उमरा गेट (दक्षिण- पश्चिम)  में है।

अग्रोहा :-

परम्परानुसार अग्रोहा का नाम अग्रवालों के पूर्वज राजा अग्र के नाम पर पड़ा है। अग्रोहा काल के सिक्के, विष्णु की प्रतिमा आदि प्राप्त हुए है। जिसके अनुसार इस शहर की स्थापना ई० पु० पांचवीं सदी से पूर्व हुई लगती है। अब यह हरियाणा का एक महत्वपूर्ण शहर है।

 अन्य प्रमुख तथ्य

·         राखीगढ़ी  यह हिसार ( Hisar ) में स्थित है। हरियाणा में हड़पा सभ्यता का सबसे बड़ा स्थल है।

·         हिसार को duke of Wellington of the mugal era कहा जाता था।

·         मासिक अमर ज्योति समाचार पत्र 1950 में हिसार से निकाला गया।

·         प्राचीन जैन की मूर्तियां हाँसी से अग्रेय जनपद के सिक्के अग्रोहा से मिले है।

·         लाला लाजपत राय का राजनीतिक अड्डा हिसार था। हिसार में कांग्रेस की पहली शाखा लाला लाजपत राय ने 1887 में स्थापित की।

·         पुरातत्व राज्य स्तरीय संग्रहालय भी हिसार में बनाया जा रहा है।

·         हिसार में हवाई अड्डा भी बनाया गया है

कृषि और खनिज

गेहूँ कपास यहाँ की प्रमुख फ़सलें हैं। अन्य फ़सलों में चना, बाजरा, चावल, सरसों गन्ना शामिल हैं।

उद्योग और व्यापार

उद्योगों में कपास की ओटाई, हथकरघा बुनाई और कृषि यंत्रों सिलाई मशीनों के निर्माण से जुड़े उद्योग शामिल हैं। यहाँ पर कपास, अनाज और तेल के बीजों का बड़ा बाज़ार है। इस बाज़ार के लिए यह बहुत प्रसिद्ध है।

यातायात और परिवहन

हिसार शहर एक प्रमुख रेल सड़क जंक्शन है।

जनसंख्या

2001 की जनगणना के अनुसार इस शहर की जनसंख्या 2,56,810, ज़िले की कुल जनसंख्या 15,36,417 है।

Q.1. हिसार जिला कब बना?

हरियाणा का हिसार जिला 1 नवम्बर 1966 को हरियाणा के गठन के समय ही बना था|

Q.2. हांसी की स्थापना किसने की?

हांसी की स्थापना आशाराम जाट द्वारा की गयी थी| हांसी हिसार जिले का एक मुख्य शहर है|

Q.3. हिसार जिले की स्थापना कब और किसने की?

हिसार जिले की स्थापना 1354 ईस्वी में तुगलक वंश के सुल्तान फिरोज तुगलक द्वारा की गयी थी|